क्या ये ही कार्य सिर्फ़, लाइब्रेरियन से लिया,जाता है केंद्रीय विद्यालयों में,ये विद्यालयों और प्राचार्यो द्वारा माननीय आयुक्त महोदय को दी गयी गलत और भ्रमीत सूचना नही है???
संसद के पटल पर गलत तथ्य रखना विशेषधिकार का मामला बनता है।
माननीय सांसद को पूरे तथ्यो और केन्द्रीय विद्यालय में पुस्तकालय अध्यक्षों से,एग्जामिनेशन,एस्कोर्टिंग, स्काउट गाइड,क्लास टीचर,को क्लास टीचर,कौन सा कार्य जो टीचर करते या नही भी करते नही लिया जाता???
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